गझल |
नाचली काळीज ते पेलीत काही माणसे |
ह बा |
गझल |
प्रश्न |
शैलेश कुलकर्णी |
गझल |
''वादात या कुणीही सहसा पडू नये '' |
कैलास |
गझल |
कुठेच आता सवाल नाही |
संतोष बडगुजर |
गझल |
हे जीवना तुझी टपरी चालते मला |
बेफिकीर |
गझल |
गलका ! |
प्रदीप कुलकर्णी |
गझल |
ह्याहून मोठे अक्रीत काही घडणार नाही |
विजय दि. पाटील |
गझल |
गंधार |
प्रदीप गांधलीकर |
गझल |
मला येत नाही |
सलिल |
गझल |
...थांब की जरा ! |
प्रदीप कुलकर्णी |
गझल |
ती काळजीत असते... |
ह बा |
गझल |
चक्रव्यूह |
भूषण कटककर |
गझल |
जपून चालले. |
चांदणी लाड. |
गझल |
कमाई.... |
अभिषेक उदावंत |
गझल |
कुंडलीने घात केला |
गंगाधर मुटे |
गझल |
तुझे स्वच्छ हासू झळाळी उन्हाची... |
वैभव देशमुख |
गझल |
मला माझ्या गुन्ह्याची फार मोठी स ज़ा झाली .... |
खलिश |
गझल |
धीट माझी प्रीत होती |
सोनाली जोशी |
गझल |
कशी अंकुरावीत आता बियाणे? |
गंगाधर मुटे |
गझल |
नको |
जयन्ता५२ |
गझल |
खूप बोलू लागला अंधार नंतर |
चित्तरंजन भट |
गझल |
धाक |
प्रमोद बेजकर |
गझल |
..पुन्हा सांग ना! |
मानस६ |
गझल |
छोट्या बहराची गझल |
आनंदयात्री |
गझल |
पांढरा किडा |
गंगाधर मुटे |